अजय ने अपनी इस पहल का नाम ‘‘जिंदगी’’ रखा है. यह उन बच्चों को अपनी जिंदगी बेहतर बनाने का मौका दे रहा है, जिन्हें सुविधाओं की कमी के चलते खुद को साबित करने का मौका नहीं मिल पाया.
आईआईटी की प्रवेश परीक्षा की तैयारी कराने वाले मशहूर संस्थान ‘सुपर 30’ के संस्थापक आनंद कुमार से प्रेरित होकर इसी तरह की एक पहल अब ओड़िशा में शुरू की गई है. ओडिशा के भुवनेश्वर में अजय बहादुर सिंह भी ‘सुपर-30’ की तर्ज पर गरीब और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के बच्चों को मेडिकल की प्रवेश परीक्षा की तैयारी कराने में जुटे हैं.
अजय ने अपनी इस पहल का नाम ‘जिंदगी’ रखा है. अजय बहादुर सिंह उन बच्चों को अपनी जिंदगी बेहतर बनाने का मौका दे रहे हैं, जिन्हे सुविधाओं की कमी के चलते खुद को साबित करने का मौका नहीं मिल पाता.
राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (NEET) की तैयारी कराने के लिए चलाये जा रहे इस कार्यक्रम को एक गैर-सरकारी संगठन चलाता है. इसमें मेडिकल कॉलेज में प्रवेश परीक्षा की तैयारी के लिए किसानों, मछुआरों, दिहाड़ी मजदूरों जैसे समाज के कमज़ोर और हाशिए पर खड़े लोगों के बच्चों को चुना जाता है.
NEET मेडिकल कोर्स के लिए राष्ट्रीय स्तर की एकमात्र प्रवेश परीक्षा है. इस पहल को शुरू करने वाले अजय बहादुर सिंह को भी अपने परिवार की आर्थिक तंगी के चलते मेडिकल की पढ़ाई बीच में ही छोड़नी पड़ी थी. आर्थिक परेशानी के चलते अजय को चाय तक बेचनी पड़ी थी. इसी कारण से उन्होंने गरीब बच्चों को डॉक्टर बनाने की ठानी और अब उनका सपना बच्चे पूरा कर रहे हैं.
क्या है ‘जिंदगी’ कार्यक्रम
जिंदगी नाम के इस कार्यक्रम को 2016 में शुरू किया गया. इस समय इसमें 19 गरीब बच्चों को मेडिकल की तैयारी करवाई जा रही है, जिसमें लड़के और लड़कियां दोनों शामिल हैं. इस कार्यक्रम के तहत, राज्य स्तर पर आयोजित एक परीक्षा के माध्यम से चयनित गरीब बच्चों को डॉक्टर बनने के लिए शिक्षा देने के साथ-साथ उन्हें मुफ्त भोजन और आवास के साथ अन्य सुविधाएं भी दी जाती है.
इस कार्यक्रम के तहत पढ़ने वाले लड़कों और लड़कियों को अलग-अलग छात्रावासों में रखा जाता है, जहां उन्हें मुफ्त भोजन मिलता है. यह कार्यक्रम एक साल का होता है, जो जुलाई से शुरू होता है. इसमें आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों का ही चयन किया जाता है, क्योंकि इस फाउंडेशन का लक्ष्य गरीब परिवारों को आगे बढ़ाने में मदद करना है.
2018 कर दिखाया था कारनामा
इस फांउडेशन के 14 वंचित छात्र 2018 में मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट (NEET) में सफल हुए थे. सफल हुए छात्रों में से 12 को ओडिशा के सरकारी मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश मिला है, जिसके बाद ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने उन्हें सम्मानित भी किया था.
आनंद कुमार हैं प्रेरणा
जिंदगी फाउंडेशन के संस्थापक अजय बहादुर सिंह अपनी इस पहल के पीछे की प्रेरणा सुपर 30 के संस्थापक आनंद कुमार को बताते हैं. अजय कहते हैं की उनका मकसद गरीब बच्चों को उनके सपने पूरे करने में मदद करना है वह अपने अधूरे सपनों को इन बच्चों के जरिए पूरा करना चाहते हैं.
बता दें कि आनंद कुमार अपने घर पर हरेक साल 30 बच्चों को फ्री में शिक्षा देकर उन्हें आईआईटी में प्रवेश दिलाते आ रहे हैं. अभी तक वो करीब 450 से भी ज्यादा स्टूडेंट्स को आईआईटी में दाखिला दिलवाने में मदद कर चुके हैं.