नागरिकता संशोधन कानून के विरोध का केंद्र बना शाहीन बाग में प्रदर्शनकारियों और राहगीरों के लिए लंगर लगाने वाले डीएस बिंद्रा को कोन नहीं जानता ? शाहीन बाग और कुछ दिन दिल्ली के खुरेजी में लंगर लगा कर लोगो तक खाना पहुंचाने वाले डीएस बिंद्रा को अच्छी खासी ख्याति प्राप्त हुई, उन्हे प्रसिद्धि मिलने के पीछे की असली वजह उनकी मानवता वादी चरित्र है जिसमे उन्होंने लोगो तक खाना पहुंचाने के लिए अपना फ्लैट बेंच दिया था और लंगर लगाया था। किन्तु अब वह एक बार फिर चर्चा में है।
हालाकि इस बार वह लंगर की वजह से नहीं अपितु दिल्ली दंगो को लेकर हुई दिल्ली पुलिस द्वारा दायर चार्जशीट में उनका नाम होने से चर्चा में है। अपना नाम चार्जशीट में देख कर डीएस बिंद्रा काफी दुखी है।
DS Bindra has been frame in Delhi riots just because of 2 reasons
1. Inhone Langar lagaya tha
2. Kyunki yh minority hai#StandWithDSBindra pic.twitter.com/ttLbqM9Ydr— Faisal Nadeem (@faisalnadeem93) June 19, 2020
उन्होंने न्यूज वेबसाइट दा क्विंट से बातचीत में कहा मैने क्या गलत किया है? क्या लंगर लगाना एक अपराध है?
दिल्ली पुलिस द्वारा कांस्टेबल रतन लाल की मौत की एफआईआर 60 के तहत दायर चार्जशीट के बाद डीएस बिंद्रा ने द क्विंट को बताया कि उनके नाम का उल्लेख किया गया है।
आपको बता दे डीएस बिंद्रा दिल्ली निवासी है और पेशे से वकील है। नागरिकता संशोधन कानून के विरोध प्रदर्शन के दौरान प्रदर्शनकारियों के लिए लंगर और सार्वजनिक रसोई का इंतेजाम कर वह चर्चा में आ गए थे।
रिपोर्ट के मुताबिक चार्जशीट जो कॉन्स्टेबल रतन लाल की हत्या और चांदबाग में हुई हिंसा से संबंधित है। गौरतलब है कि बिंद्रा का उल्लेख करते समय, पुलिस द्वारा 17 आरोपियों की सूची में उनका नाम नहीं है। हालाकि यह आरोप लगाया गया कि दंगा दूसरों के साथ बिंद्रा की भी करतूत थी।